हरियाणा सरकार ने घोषणा की है कि 1 नवंबर 2025 से राज्य के सभी जिलों में जमीन/प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री पूरी तरह ऑनलाइन और पेपर-मुक्त होगी। इस नई व्यवस्था के तहत अब जमीन या संपत्ति का पंजीकरण, दस्तावेज़ अपलोडिंग, फीस भुगतान, डिजिटल सिग्नेचर एवं ऑटो-म्युटेशन जैसी प्रक्रियाएँ घर बैठे ही की जा सकेंगी। 
यह कदम पारदर्शिता बढ़ाने, समय-की बचत करने और फर्जीवाड़ा एवं भ्रष्टाचार की सम्भावनाओं को कम करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण बदलाव है।
🔍 प्रमुख विशेषताएँ
- पूर्ण ऑनलाइन प्रक्रिया: नए पोर्टल के माध्यम से रजिस्ट्री, दस्तावेज़ अपलोडिंग, भुगतान आदि प्रक्रिया पूरी होगी।
 - डिजिटल सिग्नेचर एवं बायोमेट्रिक सत्यापन: आवेदन के हर चरण में डिजिटल हस्ताक्षर और बायोमेट्रिक पुष्टि शामिल।
 - ऑटो-म्युटेशन: पंजीकरण होने के बाद भूमि रिकॉर्ड स्वतः अपडेट होंगे, जिससे उपयोगकर्ता को अलग से म्युटेशन करवाने की जरूरत नहीं होगी।
 - कम कागज़-जाल: अब लंबी लाइनें, कागज़-फाइलें, तथा बीच-मध्यवर्ती प्रक्रियाएँ काफी कम होंगी।
 - सेवा-प्रतिक्रिया प्रणाली: QR कोड एवं पोर्टल द्वारा उपयोगकर्ता समीक्षा एवं शिकायत दर्ज करने की सुविधा।
 
✅ क्यों लाभदायक है?
- प्रक्रिया तेज और सुरक्षित होगी।
 - पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ेगी।
 - उपयोगकर्ता घर बैठे आवेदन कर सकेंगे — समय एवं संसाधन दोनों की बचत।
 - फर्जी नाम-पंजियाँ, दस्तावेज़-दुबारा दायर करना आदि कम होंगे।
 - निवेशक-वित्तीय लेन-देन अधिक भरोसेमंद बनेगा।
 
हरियाणा सरकार ने 1 नवंबर 2025 से जमीन रजिस्ट्रेशन की पूरी प्रक्रिया को पेपरलेस कर दिया है। अब राज्य के सभी 22 जिलों में जमीन/प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री पूरी तरह डिजिटल हो गई है। इसका मतलब है कि अब आपको ऑफिस में लाइन लगाकर कागजी दस्तावेज़ देने की जरूरत नहीं—सारा काम ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से होगा। सभी रजिस्ट्रेशन डीड अब डिजिटल सिग्नेचर के साथ ही मान्य होंगी, जिससे फर्जीवाड़ा, दस्तावेज़ खोने या गलत एंट्री की समस्या समाप्त हो जाएगी।
नई व्यवस्था में रजिस्ट्रेशन फीस और स्टांप ड्यूटी का भुगतान भी ई-गवर्नेंस गेटवे से ऑनलाइन होगा। आपको रजिस्ट्री के लिए डिजिटल डाक्यूमेंट्स, स्कैन PDF, आधार वेरिफिकेशन, OTP आदि काम ऑनलाइन करने होेंगे। डीड अपलोड, फीस पेमेंट, वेरिफिकेशन और अप्रूवल, सब कुछ एक ही पोर्टल पर संभव है। रजिस्ट्री के बाद ऑटो-म्यूटेशन की सुविधा भी दी गई है, जिससे आपके नाम पर तुरंत जमीन ट्रांसफर कर दी जाएगी।
यह बदलाव पारदर्शिता, तेज़ सर्विस, सरकारी जवाबदेही और नागरिक सुविधा के लिए लाया गया है। अब हर नागरिक अपने सारे रजिस्ट्री डॉक्यूमेंट सुरक्षित डिजिटल प्लेटफॉर्म पर पा सकेगा, और अपनी सेवा का फीडबैक भी ऑनलाइन दे पाएगा।
❓ FAQs (Frequently Asked Questions)
Q1. क्या यह नया पेपरलेस रजिस्ट्री – पूरे राज्य में 1 नवंबर 2025 से लागू होगी?
A1. हाँ, हरियाणा सरकार ने घोषणा की है कि 1 नवंबर 2025 से राज्य के सभी 22 जिलों में यह प्रक्रिया पूरी तरह से लागू होगी। 
Q2. इस ऑनलाइन रजिस्ट्री प्रक्रिया में मुझे क्या-क्या करना होगा?
A2. आवेदन पोर्टल पर लॉग-इन करना, दस्तावेज़ अपलोड करना, फीस ऑनलाइन जमा करना, बायोमेट्रिक सत्यापन तथा डिजिटल हस्ताक्षर करना। फिर अंतिम उपस्थिति केवल कार्यालय में होगी। 
Q3. क्या पुरानी पारंपरिक प्रक्रिया बंद हो जाएगी?
A3. हाँ, सरकार ने पारंपरिक कागज़-आधारित रजिस्ट्री प्रक्रिया बन्द करने का लक्ष्य रखा है ताकि पूरी प्रक्रिया डिजिटल हो सके। 
Q4. क्या फर्जीवाड़ा-रोकथाम हेतु कोई विशेष सुविधा है?
A4. जी हाँ, आवेदन के प्रत्येक चरण में स्वचालित सत्यापन, दस्तावेज़ जाँच और QR-आधारित समीक्षा प्रणाली लागू की गई है। 
Q5. क्या यह सुविधा सिर्फ शहरी जमीन के लिए है या ग्रामीण क्षेत्रों में भी लागू है?
A5. यह सुविधा सारे प्रकार की संपत्तियों पर लागू होगी — शहरी, ग्रामीण, पैंचायत-भूमि, कृषि भूमि सहित।
Q6. क्या मेरे लिए अभी तैयार-आवेदन उपलब्ध हैं या पहले पायलट चरण में हैं?
A6. हाँ, सरकार ने पहले पायलट प्रारंभ किया है (जैसे नारायणगढ़ तहसील में)। 1 नवंबर तक राज्य-व्यापी विस्तार होगा। 
for more details – visit www.proptidekho.com
					
	    	
                                    
			
			
			
Join The Discussion